26 जनवरी 2023 से पलट जाएगी भारत की किस्‍मत, इन क्षेत्रों में आ सकता है तूफान | Future Point

26 जनवरी 2023 से पलट जाएगी भारत की किस्‍मत, इन क्षेत्रों में आ सकता है तूफान

By: Future Point | 25-Jan-2022
Views : 194726 जनवरी 2023 से पलट जाएगी भारत की किस्‍मत, इन क्षेत्रों में आ सकता है तूफान

भारत की जमीन पर जन्‍म लेने वाले हर इंसान को 26 जनवरी का महत्‍व पता है। हर भारतीय इस दिन को तहेदिल से प्‍यार करता है और अपने देश का सम्‍मान करता है। यह दिन देश पर कुर्बान होने वाले सेनानियों और सैनिकों को समर्पित होता है। पूरे साल जिन योद्धाओं ने अपनी बहादुर का परिचय दिया, उन्‍हें 26 जनवरी यानि गणतंत्रता दिवस के मौके पर सम्‍मानित किया जाता है। इस साल भारत का 74वां गणतंत्र दिवस मनाया जाएगा। आइए जानते हैं कि 26 जनवरी, 2023 से भारत का भाग्‍य कैसा रहेगा।

26 जनवरी को हर भारतीय सेनानियों की महानता और उपलब्धियों को सम्‍मान देता है। इसी दिन भारत का संविधान बना था और 1965 में हिंदी भाषा को आधिकारिक बनाया गया था। हर साल गणतंत्र दिवस के दिन देश के वीर युवाओं और सैनिकों को उनके साहस के लिए पुरस्‍कार से नवाजा जाता है।

2023 में भारत की स्थिति

किसी को भी भारत देश के अस्‍तित्‍व में आने की सही तारीख नहीं पता है। हालांकि, यहां पर भारत के लिए साल 2023 से संबंधित कुछ भविष्‍यवाणियां की गई हैं। 2023 में, भारत चंद्र महादशा के प्रभाव में होगा। इससे उसकी राजनीतिक, आर्थिक, धार्मिक और सांस्कृतिक समस्याओं का समाधान मिल सकता है।

भारत ने 15 अगस्‍त को अपने स्‍वतंत्रता दिवस के रूप में चुना और 1947 में 15 अगस्‍त को नई दिल्ली में रात के 12 बजे देश को आजाद किया गया। इस पुनर्जन्म को ध्यान में रखते हुए, भारत की कुंडली इस प्रकार है :

पांच ग्रह या पंचग्रही युति में थे और 14 से 15 अगस्‍त को देश की कुंडली में एक ही जगह पर बैठे हुए थे। ज्‍योतिष के अनुसार देश और समाज दोनों के लिए ही यह समय अशुभ था। हालांकि, भारत की कुंडली में वृषभ लग्‍न स्‍थान में है और इससे उस समय भारत को व्‍यापार के क्षेत्र में अच्‍छा करने का मार्ग और अवसर मिला था। भारत की कुंडली में पहला घर वृषभ राशि का था। इस प्लेसमेंट ने लोकतंत्र को स्थिरता पाने में मदद की और तभी से भारत की एक लोकतंत्र देश के रूप में यात्रा जारी है।

2023 में भारत की भविष्‍यवाणी

इस साल भारत की चंद्रमा की महादशा चलेगी। अत: राजनीति के क्षेत्र में भारत की दूसरे देशों के साथ अच्‍छी पार्टनरशिप हो सकती है। इससे देश के विकास में मदद मिलेगी। भारत अपनी उप‍लब्धियों की वजह से विश्‍व स्‍तर पर अपनी पकड़ मजबूत कर पाएगा और उसे हर क्षेत्र में अपने काम में सफलता और खुशहाली मिलेगी।

हालांकि, आने वाले चुनावों में देश के सामने मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं और आम आदम भी इससे प्रभावित हो सकता है। इसके अलावा हर चीज में भारतीय राजनीति विकास करेगी और देश को आगे बढ़ाएगी। चुनावी बिगुल बनने से राजनीतिक परिदृश्य में अशांति रहेगी। यह अन्य देशों के साथ भारत के संबंधों को प्रभावित करेगा, विशेष रूप से, जो भारत में चुनावों को करीब से देखते हैं।

2022 की तुलना में 2023 की पहली तिमाही में वैश्विक जोखिमों में कमी आएगी और ब्याज दरों में बढ़ोत्तरी के कारण, भारतीय शेयर बाजारों में वृद्धि देखने को मिल सकती है। वर्ष के पूर्वार्द्ध में चंद्रमा की महादशा और केतु की अन्तर्दशा होने के कारण देश के नागरिकों को अपनी नीतियों और निवेश के तरीकों पर ध्यान देने की जरूरत है। विदेश भारत में निवेश करने की इच्‍छा जता सकते हैं।

बाद में, जब चंद्रमा की महादशा शुक्र की अंतर्दशा के साथ होगी, तो इसके कई पहलू देखने को मिलेंगे। यह देश के आर्थिक स्‍तर पर बुरी तरह से प्रभावित कर सकता है। हालांकि, कोई बड़ा नुकसान नहीं होगा क्योंकि इस साल बृहस्पति और शनि के दो प्रमुख गोचर हो रहे हैं। ये भारत की स्थिति को बेहतर करने में मदद कर सकते हैं।